*ॐ उग्रं वीरं महाविष्णुं ज्वलन्तं सर्वतोमुखम्।*
*नृसिंहं भीषणं भद्रं मृत्युमृत्युं नमाम्यहम्॥*
हे उग्र एवं शूर-वीर महाविष्णु, आपका तेज एवं ताप चतुर्दिक फैला हुआ है। हे नरसिंह भगवान, आप सर्वव्यापी भद्र हैं, आप मृत्यु के भी यम हैं। मैं आपको नमन करता हूँ।
आज *भगवान नृसिंह प्राकट्य दिवस* (नरसिंह चतुर्दशी) पर भगवान के इस उग्र रूप से पृथ्वी पर आये महामारी रूपी संकट को मिटाने की प्रार्थना करते हैं।
व्याधियाँ इतनी बढ़ी है,
हर किसी के सर चढ़ी है,
दीप करता प्रार्थना है,
धैर्य रखने की घड़ी है।
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